भगवान भोलेनाथ की सच्चे मन से आराधना करने पर जीवन के सारे कष्ट दूर हो जाते हैं। भगवान शंकर भक्त की हर इच्छा पूरी करते हैं। इस बार की महाशिवरात्रि बेहद खास है। हिंदू धर्म में शिवरात्रि का बहुत ज्यादा महत्व हैI इस दिन कई शुभ योग बन रहे हैंI यह तिथि फाल्गुन मास के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को आती हैI इस दिन शिव योग बन रहा हैI साथ ही इस दिन नक्षत्र घनिष्ठा रहेगा और चंद्रमा मकर राशि में विराजमान रहेगा I
इस दिन माता पार्वती और भगवान शिव का विवाह हुआ था। ऐसी मान्यता है कि शिव-शक्ति के मिलन के इस पावन पर्व पर व्रत और पूजन करने से वैवाहिक जीवन की सभी समस्याओं का निदान होता है। दिल्ली के पंडित राम मेहर शर्मा जी कहते है कि इसके लिए पति-पत्नी दोनों को व्रत करके भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा करनी चाहिए क्योंकि यह दिन भगवान शिव की कृपा प्राप्त करने के लिए बहुत शुभ माना गया है। इस दिन भक्त विधि-विधान के साथ भगवान शिव को प्रसन्न करने हेतु पूजा आराधना की जाती है। शिवरात्रि पर रात्रि जागरण कर भगवान शिव की पूजा चारों प्रहर करने का विधान है।
इस दिन पूजा करने से व्यक्ति की सभी मनोकामनाएं पूरी हो जाती हैंI मान्यता है कि इस दिन व्रत और पूजा करने से कन्या को मनचाहे वर की प्राप्ति होती है Iअगर कन्या का विवाह काफी समय न हो रहा हो या किसी भी तरह की बाधा आ रही हो तो उसे महाशिवरात्रि का व्रत करना चाहिएI इस स्थिति के लिए यह व्रत बेहद फलदायी माना गया हैI इस व्रत को करने से भगवान शिव का आर्शीवाद का प्राप्त होता हैI साथ ही सुख, शांति और समृद्धि बनी रहती हैI शालीमार बाग़ के ज्योतिष कहते है कि इस व्रत को करने से मनुष्य के पापों का क्षरण होता है। महाशिवरात्रि पर पूरी निष्ठा के साथ व्रत करने से भगवान शिव की असीम कृपा प्राप्त होती है।
महाशिवरात्रि पूजा का शुभ मुहूर्त
महाशिवरात्रि तिथि- 11 मार्च 2021 (बृहस्पतिवार)
चतुर्थी तिथि प्रारंभ: 11 मार्च 2021 को दोपहर 2 बजकर 39 मिनट से
चतुर्थी तिथि समाप्त: 12 मार्च 2021 को दोपहर 3 बजकर 2 मिनट तक
शिवरात्रि पारण समय: 12 मार्च की सुबह 6 बजकर 34 मिनट से शाम 3 बजकर 2 मिनट तक